संक्रमितों पर नजर रखने और लोगों की जरूरतों को पूरा करने के लिए ऐप बनाया, घर से बाहर निकलने के लिए ई-पास दिया

(अनिरुद्ध शर्मा) देश के स्मार्ट शहरों ने काेराेना संक्रमिताें पर निगरानी व आमजनों की जरूरतों को पूरा करने के लिए कई तकनीकी समाधान निकाले हैं। इनमें सफलता भी मिल रही है।

सूरत : कोविड-19 ट्रैकर एप से रोगियों और संदिग्धों पर नजर
सूरत म्यूनिसिपल कॉरपोरेशन ने कोविड-19 ट्रैकर मोबाइल एप विकसित किया है। यह उन शहरी नागरिकों पर नजर बनाए हुए है जिनकी विदेश या देश के अन्य प्रदेशों में यात्रा की हिस्ट्री रही है और जो संक्रमिताें के सीधे संपर्क में रहे हैं। वेबसाइट या हेल्पलाइन नंबर पर सूचना देकर एप डाउनलोड किया जा सकता है। व्यक्ति काे हर घंटे अपनी लोकेशन साझा करनी हाेती है ताकि पुष्टि हो सके कि वह क्वारेंटाइन का पालन कर रहा है। जिनके घर में जगह नहीं है, उन्हें निगम के क्वारेंटाइन सेंटर में रखा जा रहा है। क्वारेंटाइन किए लाेगाें से राेज सुबह 10 बजे और रात 9 बजे एप पर तीन सवाल पूछे जाते हैं। जवाब के साथ व्यक्ति को सेल्फी भेजनी होती है। एप पर आइसोलेशन वार्ड में भर्ती व क्वारेंटाइन किए संदिग्धों की सूची रियल टाइम में उपलब्ध है। संक्रमित लाेगाें का डेटा भी एप पर है।

आगरा : लॉकडाउन पर मॉनिटर एप से नजर
लॉकडाउन का पालन कराने के लिए मॉनिटर एप बनाया गया है। इसे पुलिस और प्रशासनिक अधिकारियों को मुहैया कराया गया है। कहीं भी भीड़ होने और सोशल डिस्टेंसिंग न रहने पर शहरभर में लगे सीसीटीवी कैमरों के जरिए मिली फीड के जरिए पुलिस-प्रशासन को अलर्ट मिलता है। नगर निगम ने स्मार्ट सिटी कंट्रोल एंड कमांड सेंटर को कोविड-19 वार रूम में तब्दील कर दिया है। नागरिकोंं को सूचना दी जा रही है कि वे किराना सामान के लिए ऑनलाइन ऑर्डर दें।

बनारस : सेव काशी एप से मिल रहा ई-पास
इस पर क्वारेंटाइन, होम क्वारेंटाइन किए लोग, आइसोलेशन व ठीक हो चुके मरीजों की रियल टाइम संख्या है। फूड सेंटर और बेघरों के लिए शेल्टर होम की सूची मैप के जरिए उपलब्ध है। कालाबाजारी की शिकायत दर्ज करवाई जा सकती है। स्वास्थ्य परामर्श ले सकते हैं। घर से बाहर जाने के लिए ई-पास भी बनवाए जा सकते हैं।

अलीगढ़ : मुफ्त टेलीमेडिसिन सुविधा
स्मार्ट सिटी के कंट्रोल एंड कमांड सेंटर से मरीजों को टेलीमेडिसिन की सुविधा दी जा रही है। मरीज सुबह 11 से 1 बजे और शाम 5 से 7 बजे तक वीडियो काॅन्फ्रेंसिंग के जरिए डॉक्टरों से मुफ्त परामर्श ले रहे हैं। प्रेस्क्रिप्शन स्मार्टफोन से भेजा जाता है। एक साथ 15 मरीज देखे जा सकते हैं। इससे सिविल अस्पताल की ओपीडी में मरीज घटे हैं।

अन्य शहर भी अपना सकते हैं इनके तरीके

स्मार्ट सिटी मिशन के डायरेक्टर कुणाल कुमार ने कहा किकोविड के इस असाधारण दौर में सूरत, आगरा, बनारस, अलीगढ़ व बेंगलुरू जैसे शहरों की बेस्ट प्रैक्टिसेज मिसाल हैं। इन्हें बाकी स्मार्ट और अन्य शहर अपना सकते हैं।



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अहमदाबाद में पुलिस लॉकडाउन के दौरान ड्रोन के जरिए लोगों पर निगरानी रख रही है।


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