उत्तर-पूर्वी दिल्ली दंगों से संबंधित मामलों में विशेष सरकारी अभियोजकों (एसपीपी) की नियुक्ति के खिलाफ सोमवार को केंद्र और आम आदमी पार्टी (आप) सरकार से दिल्ली हाईकोर्ट ने जवाब मांगा है।
जस्टिस नवीन चावला ने दिल्ली अभियोजन कल्याण संघ (डीपीडब्ल्यूए) की ओर से दायर याचिका पर गृह मंत्रालय, दिल्ली सरकार और दिल्ली पुलिस को अपना पक्ष रखने के लिए नोटिस जारी कर 12 जनवरी, 2021 को सुनवाई की अगली तारीख से पहले अपना पक्ष रखने को कहा है।
डीपीडब्ल्यूए का प्रतिनिधित्व कर रहे सीनियर एडवोकेट विकास पाहवा ने दिल्ली हाईकोर्ट को बताया कि त्वरित याचिका में न्यायशास्त्र के सवाल उठाए जा रहे थे कि पुलिस के इशारे पर एसपीपीज कैसे नियुक्त किए जा सकते हैं।
पाहवा के असिस्टेंट अधिवक्ता कुशाल कुमार ने अदालत को बताया कि अभियोजन को पुलिस से स्वतंत्र और अछूता रहना चाहिए और इसलिए जांच एजेंसी के इशारे पर एसपीपी की नियुक्ति नहीं की जा सकती है।
डीपीडब्ल्यूए ने वकील कुशाल कुमार और आदित्य कपूर के माध्यम से दायर अपनी याचिका में सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता सहित एसपीपी को नियुक्त करने की दिल्ली सरकार की 24 जून की अधिसूचना को रद्द करने की मांग की।
Download Dainik Bhaskar App to read Latest Hindi News Today
from Dainik Bhaskar https://ift.tt/32tWZz6
via IFTTT
No comments:
Post a Comment